बीकानेर गजल भारतीय समाज एवं साहित्य में इस कदर रच बस गई है कि हम उसे किसी भी स्थिति में कम नहीं आंक सकते,साथ ही गजल एवं गजल गायकी ने अपना दायरा संपूर्ण विश्व में फैला दिया है यही केंद्रीय भाव  बीकानेर साहित्य, संस्कृति कला संगम, अदीब डॉ.मोहम्मद हुसैन की गजलों के एल्बम दर्द के पत्थर के विमोचन समारोह में  महाराजा नरेंद्र सिंह ऑडिटोरियम, नागरी भण्डार में उभरकर सामने आए। कार्यक्रम के प्रारंभ में स्वागताध्यक्ष कासिम बीकानेरी ने बीकानेर की गजल एंव गायकी के बारे में बताते हुए कहा कि नगर में एक लंबे अंतराल के बाद देखने में आया है जब किसी गजल गायक की शानदार केमिस्ट्री देखने को मिली। शायरी और संगीत की ये जुगलबंदी श्रोताओं द्वारा ख़ूब पसंद की जाएगी। एल्बम विमोचन के इस कार्यक्रम के विशिष्ठ अतिथि वरिष्ठ कवि कथाकार कमल रंगा ने कहा कि गजल शाइरी की एक विशिष्ट विधा है जब उसके साथ संगीत की केमिस्ट्री मिल जाती है तो इसके तेवर एवं रंगत में और अधिक निखार पैदा हो जाता है। आज अनेक भारतीय भाषाओं में गजलें कहीं जा रही है जो इसकी लोकप्रियता का परिचायक है। बीकानेर में एक उम्दा गजल एल्बम का तैयार होना एक साहित्यिक घटना है।


कार्यक्रम में शायर डॉ. मोहम्मद हुसैन ने अपनी एल्बम की बेहतरीन एवं चर्चित गज़लों को प्रस्तुत करके श्रोताओं की भरपूर वाह वाही लूटी।आप की गजल के इस शेर को ख़ूब पसंद किया गया-ग़म के पानी से वुज़ू मैंने किया तब जाकर, शायरी  फिक्र के औराक़ को छू पाई है। कार्यक्रम में अतिथियों द्वारा एल्बम के विमोचन उपरांत श्रोताओं के लिए लिए गजलों का प्रसारण किया गया जिसे सुनकर श्रोता मंत्रमुग्ध हो गए। कार्यक्रम के अध्यक्ष वरिष्ठ कवि भवानी शंकर व्यास विनोद ने कहा कि डॉ. मोहम्मद हुसैन की गजलों में माधुर्य है।आपकी गजलें आपके अहसासो-जज़्बात एंव भावना की तीव्रता का बेहतरीन नमूना है। मुख्य़ अतिथि वरिष्ठ गजल गायक एवं संगीतकार रफ़ीक़ सागऱ ने कहा की गजल गायन एक चुनौती भरा कार्य है जिसे रफ़ीक़ राजा ने ख़ूबी के साथ निभाया है, डॉ. मोहम्मद हुसैन की गजलें लाजवाब हैं,जिन्हें सुनकर रूह को ताजग़ी मिलती है। इस एल्बम की रिकॉर्डिंग करमीसर स्थित ऑडी स्टूडियो में करवाई गई है।


इस अवसर पर आयोजक संस्थां द्वारा  डॉ. मोहम्मद हुसैन एवं गायक रफ़ीक़ राजा का शॉल एवं माल्यार्पण द्वारा स्वागत सम्मान किया गया। एल्बम के निर्माता युवा रंगकर्मी एवं अभिनेता जुनैद ख़ान हैं। गजलों के संगीतकार एवं गायक रफ़ीक़ राजा ने इस अवसर को एक अद्भुत अवसर बताते हुए कहा कि बीकानेर प्रतिभाओं की ख़ान है। यहां के रचनाकार देश-विदेश में अपनी अलग पहचान रखते हैं। एलबम के रिदम अरेंजमेंट ताहिर हसन एवं ग़ुलाम हुसैन एवं की बोर्ड प्लेयर असद अली हैं। यह एल्बम मुंबई की मशहूर ऑडियो कंपनी ऑडियो करी द्वारा पेश किया जा रहा है।

आभार ज्ञापन युवा रंगकर्मी जुनैद ख़ान ने किया। कार्यक्रम में आनन्द वी.आचार्य, मधु आचार्य आशावादी,पूनम मोदी, राजेन्द्र जोशी, डॉक्टर सुरेंद्रनाथ,नावेद ख़ान,जयपुर के कवि देव शर्मा,ग़ुलाम हुसैन, राजू सरदार,ज़ाकिर अदीब, डॉ. शकीला, ज़हीन बीकानेरी,मोनिका गौड़,योगेन्द्र पुरोहित, बी.एल.नवीन,शिव शंकर भादाणी,डॉ अजय जोशी, रितु व्यास,बुलाकीदास भादाणी, पुखराज सोलंकी, सीमा भाटी, राहुल गुप्ता, मो. जमील, आबिद अली, बाबूलाल छंगाणी, फ़ारूक़ चौहान, माजिद ख़ान ग़ौरी, गौरीशंकर शर्मा, शाहबाज चौहान, लोकेश आचार्य, मुनिंदर अग्निहोत्री, डॉक्टर मंजू कच्छावा, अजीत राज, सय्यद मो. जावेद,सय्यद मो.शरीफ़, इरफ़ान अली,चंद्रशेखर आचार्य अशोक जोशी, गिरिराज पारीक,अल्लाह बख़्श साहिल,डॉ. बिंदु भसीन, डॉक्टर अशोक भार्गव, पंकज सिंह, हनुमंत गौड़,मोहम्मद यासीन, अभिनेता करण सोनी,वली ग़ौरी, शशांक रामावत,पूनमचंद गोदारा, सोनू लोहमरोड़ सहित अनेक क्षेत्रों की शख़्सियतें मौजूद थीं। कार्यक्रम का संचालन नौजवान शाइर इरशाद अज़ीज़ ने किया।